असली व्रत क्या है | कबीरपंथी व्रत-उपवास क्यों नहीं मानते | what is the real fast | Swami Ranjeet व्रत करने वाला पाखंडी है सच्चा व्रत कोई नहीं करता पूरा संसार झूठा व्रत कर रहा है
हे परम पूज्य स्वामी रणजीत साहब जी आप तो असली भगवान के दूसरे रूप हैं क्योंकि आपने जो प्रवचन सुनाया जिसको मैं मेरे मन एवं शुद्ध किया को कटिबंध रहने का आभार व्यक्त करता हूं बहुत बहुत शुक्रिया स्वामी जी इस तरह के अभिज्ञ की दूसरी आंख मिल रही है
साहेब बंदगी! साहेब जी आपका प्रवचन सुनकर आत्मा को बहुत शांति मिली।आपका प्रवचन सुनकर लगा जैसे आत्मा और परमात्मा से मिलन हो रहा है। ईश्वर आपको दीर्घायु प्रदान करें ताकि हम समाज वालों को आप जैसे गुरु से ज्ञान मिलता रहे। साहेब बंदगी ।🙏🙏
गुरु जी 🙏🌹🙏 हमारी आपसे निवेदन व प्रार्थना है कि आप जैसे महान विद्वान धर्म के ज्ञाता, धरती माता के सुपुत्र लाल हो सर जी 🙏🌹🙏 व पुरे संसार की कुलदेवी मां धरती का दुःख दर्द को आप महसूस करना चाहिए क्योंकि धरण मां सबको पालने वालीं दाता है, धरती माता जिन्दा जीव है!!नव खण्ड मनुष्य के है व धरती माता का भी नव खण्ड है 🙏🌹🙏 मनुष्य के शरीर में हाड मांस नाडी,ओझडी,आन्त, चन्द्र भाण हाथ पैर वगैरा है ठिक उसी प्रकार धरती माता स्वरुप बडा काछब रुप की तरह है यह मां आपकों पुकार कर रही हैं🌍👥🐫🐃🌴🌳😭🌱🌾 चौरासी लाख जीवाजुन के नाम का होम पाप करवाके संसार की बुद्धि भष्ट कर रहे हैं व सभी को आपस में लडवा कर गारत कर रहे हैं व बनियों ने मेह और मौत को वश में कर दिया है राक्षसी पाप के सबब से रावण हरणाकचयप कि तरह सोदागर महाजन बनियों के गुप्त पाप से धरती माता महादुखी है,आप जैसे महान विचारक की सख़्त ज़रूरत है धरती मां को बचाने के लिए आप श्री नकलंग देव श्री अनोपस्वामीजी महाराज जी के द्वारा लिखित ग्रन्थ जगतहितकारीणी पढ़ कर सोचे समझे और बनियों के जाल से बचे व औरों को भी बचाये व अनोप मन्डल में आपका स्वागत है 🙏🌹🙏 अनोप मन्डल से जुड़ कर बनियों का राक्षसी पाप व गुप्ति पाप छोडाने में सहायक बने सर जी नमस्कार राम राम जी 🙏🌧️ अलख निरंजन मालिक 🙏🌧️🙏 जल ही परमेश्वर है 🙏🌹🙏
संत कबीरदास जी महाराज श्रीमद् जगतगुरु रामानंदाचार्य जी के शिष्य थे और राम भक्त में कबीर दास जी का नाम बड़े आदर के साथ लिया जाता है हमारे सनातन धर्म में हर एक व्रत का वैज्ञानिक तर्क है श्री सीताराम भगवान की जय
साहिब बंदगी सतगुरु आपके संत प्रवचन आपके मुखारविंद उसे आपको कोटि-कोटि नमन बंधन है मैं डॉक्टर अशोक कुमार आपको नमन वंदन करते हैं महान संत समाज सुधारक महान संत
आज पूजा अर्चना ,उपवास मात्र दिखावा के अलावा कुछ नहीं है ।स्वामी रंजीत महाराज जी के सत्य सत्संग और प्रवचन से स्पष्ट हो जाता है । ऐसे महान ज्ञान प्रचारक के चरणों में सत्य सत्य नमन ।
परमपूज्य सदगुरु संत सवामी रणजीत साहेब जी। मेरा परणाम आप तक पहुँच सके। मैं बहुत ही गरीब आदमी हूँ। उम्र पचपन साल। मेरे माता, पिता सवरगवास हो गये। अब मैं आपको ही गुरु मानकर आपका ज्ञान की बात अपने मोबाइल में सुनकर अपने आतमा में ऊतार रहा हूँ। और आपसे अपने ऊपर दया चाहता हूँ। आपका शिष्य युगल परसाद। बिहार।
शरीर के आंतरिक संरचना को शुद्ध करने के लिए उपवास करते हैं जिनका संबंध नक्षत्र और ग्रहों से होता है उसका प्रभाव सीधे मन और आत्मा पर पड़ता जैसा कि ग्रहण का प्रभाव सभी जीवो पर पड़ता है जय जय सियाराम सीताराम