गणेश जी ने क्यों लिखी थी महाभारत?
पौराणिक कथा के अनुसार, महान ऋषि पराशर के पुत्र महर्षि वेद व्यास ने तपस्या में लीन होकर महाभारत का स्मरण किया था. वेद व्यास ने दुनिया के समक्ष इस दिव्य महाकाव्य को रखने का मन बनाया, लेकिन वेद व्यास के सामने बड़ी समस्या ये थी कि इसका श्रुतलेख कौन करेगा.
इस समस्या के साथ वेद व्यास ब्रह्मा जी के पास पहुंचे, तब उन्होंने श्री गणेश का नाम सुझाया. भगवान गणेश जी की लिखावट तेज और सुंदर थी. महर्षि वेद व्यास ने फिर गणेश जी को महाभारत का लेखन करने के लिए गुहार लगाई. तब गणेश जी ने महाभारत का लेखन किया था.
महर्षि वेद व्यास के समक्ष क्या रखी थी शर्त?
महर्षि वेद व्यास और गणेश जी के बीच महाभारत लेखन कार्य शुरू किया गया. तब गणेश जी ने उनके समक्ष एक शर्त रख दी. गणेश जी ने कहा कि कलम शुरू करने के बाद वह रुकेंगे नहीं, अगर रुक गए तो आगे नहीं लिखेंगे.
इस पर वेद व्यास जी ने भी समझदारी से काम लेते हुए गणेश जी के सामने शर्त रख दी कि वह हर श्लोक का अर्थ समझ कर ही लिखेंगे. गणेश जी ने ये प्रस्ताव स्वीकार कर लिया. इस तरह महाभारत की रचना हुई थी.
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15 сен 2024