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हाथरस वाली घटना उत्तरप्रदेश में 80 के दशक में नारायणपुर कांड की पूरी कॉपी है फर्क ये है की तब दादी नौटंकी कर रही थी और आज दादी जैसी नाक वाली पोती और मेंटल पोता नौटंकी कर रहे हैं आज जो कांग्रेसी जिहादी मानसिकता वाले लोग और चमचे लोकतंत्र की दुहाई देते है आज यह जान कर चोक जायेंगे की 1980 के दशक में जनता पार्टी बीजेपी पार्टी थी और बाबू बनारसी दास उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री थे ,जो इंद्रा की आंखों में कांटों की तरह खटक रहे थे उनको इस लिए बर्खास्त कर दिया गया कि कुशीनगर जिले के कप्तानगंज कस्बा नारायणपुर में एक दलित इंसान की ट्रेक्टर ट्राली से मौत हो गई थी और इतिहास में ये घटना नारायणपुर कांड के नाम से जानी जाती है लेकिन इस घटना का दूसरा पहलू भी है जो धोखे पर आधारित है आज कल आप प्रियंका को बीजेपी शासित राज्यों में दंगा करने वाले पीड़ितों या दंगाइयों के घर जा कर सिर पर हाथ सहराते देखते हैं ठीक ऐसे ही धूर्त इंद्रा गांधी भी थी क्योंकि उस समय इंद्रा गांधी सत्ता से बाहर हो चुकी थी तो उसे जैसे ही पता चला की पूर्वी उत्तरप्रदेश के दूर दराज नारायणपुर इलाके में एक दलित महिला की ट्रेक्टर ट्राली से कुचल कर मौत हो चुकी है और उसकी बेटी अनाथ हो गई है तो इंद्रा तुरंत नारायणपुर भाग कर गई और उस लड़की जिसका नाम था सोनकालिया उस अनाथ लड़की को गोद में लिया और मीडिया के सामने ये एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी बेटी है आज से इसके लालन पालन पोषण पढ़ाई लिखाई और पूरी जिंदगी का जिम्मा में लेटी हूं आज से ये मेरी बेटी है, इंद्रा गांधी की सह पाकर विरोधी गांव वाले उत्तरप्रदेश की बीजेपी सरकार बाबू बनारसी दास के खिलाफ लोगों से बगावत करवा दिया और जगह जगह चक्का जाम करवा दिए और pac को मजबूरन दंगाइयों पर गोली चलानी पड़ी और इस प्रकार जिहाद फेला कर बाबू बनारसी दास बीजेपी सरकार को सत्ता से बर्खास्त करवा दिया,इतना ही नहीं उस दलित अनाथ बच्ची सोनकलियां को इंद्रा गांधी जहाज में बिठा कर दिल्ली ले आई,दिल्ली में उस अनाथ बच्ची को देश की मीडिया के सामने गोद में लेकर दुलारा पुचकारा और एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी गोद ली हुई बेटी है में आज से पूरी जिंदगी इसकी जिम्मेदारी लेती हूं इसको विदेश में शिक्षा पढ़ाई लिखाई पालन पोषण हर प्रकार की जिम्मेदारी मेरी है पूरी जिंदगी, उसी दिन एक व्यक्ति सोनकलिय को जहाज में बिठा कर गोरखपुर लाया और सड़क मार्ग से गांव में छोड़ कर चला गया, क्यों की उस समय पूरी देश की मीडिया इंद्रा के कंट्रोल मे थी, और उत्तरप्रदेश का मुख्य अखबार (आज) होता था जो कांग्रेस के नेता कमला पति त्रिपाठी का था इस लिए कांग्रेसियों ने इस घटना पर चुप्पी साध ली, कि जिस अनाथ बेसहारा बच्ची को कुछ घंटे पहले इंद्रा अपनी बेटी बता रही थी पूरे देश की मीडिया के सामने उस अबोध अनाथ बेसहारा बच्ची को वापिस गांव में छोड़ दिया गया क्यों कि इंद्रा का मतलब निकल गया था, आज इंद्रा की गोद ली हुई बेटी सोनकलिया गांव में भीख मांग कर गुजारा कर रही है, 2014 के बाद जब उत्तरप्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार बीजेपी आई तो उस इंद्रा की गोद ली अनाथ बेसहारा बेटी सोनकलिया को प्रधानमंत्री आवास योजना से पक्का घर मिला ये सच्ची कहानी है सोनकलिया जिंदा है और ये आपको नारायणपुर 1980 घटना उत्तरप्रदेश के नाम से गूगल पर मिल जायेगी,,,, इस लिए में बोलता हूं कि ये धूर्त खानदान ने नोटंकि करने के अलावा कुछ नहीं किया है ये दोगले हमेशा गिलेसरीन लेकर घूमते हैं और जहां जरूरत पड़ती है वहां आंखों में गिलेसरिन लगा कर धूर्त भेड़ियों की तरह रोने लगते हैं क्यों कि इन कांग्रेसी लोगों के परिवार ने भारत की जनता की कमजोरी जान ली है कि भारत की जनता बहुत भाबुक होती है इस लिए इन लोगो से आज भी भारत के बच्चे बच्चे को सावधान रहना चाहिए ये कभी किसी के नहीं हो सकते ऐसे लोगों का कोई धर्म नहीं होता जय हिंद ये आपको गूगल पर नारायणपुर उत्तरप्रदेश 1980 घटना के नाम से मिल जायेगी जय श्री राम सावधान रहना इन लोगों से
2014 तक गांव में बिजली नहीं थी तो इसके लिए खानग्रेस गांधी परिवार नही उसे वोट देने वाले जिम्मेदार हैं। अभी भी वक्त है कांग्रेस मुक्त भारत में ही सबकी भलाई है।
2011 me Akhilesh yadav ne UP ka social survey karaya tha jisme Raibareli aur Amethi UP hi ni poore desh me sabsejayada backward Dist the.Us report ko padhakar Congress se sawal poocha chaiye
पहले बीजेपी चाहती थी कि सोनिया और राहुल जिताएं ताकि कांग्रेस का उत्थान न हो. अब जब कांग्रेस लगभग ख़त्म हो गई है तो बीजेपी राहुल की हार सुनिश्चित कर रही है. सोनिया राज्यसभा गईं क्योंकि उन्हें पता था कि वह हार जाएंगी।
रायबरेली का विकास नहीं विनाश कर दिया है। अगर गांधी जी खानदान रायबरेली का विकास चाहता तो लंदन की सड़कों से भी ज्यादा खूबसूरत जगह बन जाता जहां बिजली पानी शौचालय की व्यवस्था 2014 तक सोनिया गांधी भी नहीं कर पाई। आप उसी का राहुल खान करेंगे।
हाथरस वाली घटना उत्तरप्रदेश में 80 के दशक में नारायणपुर कांड की पूरी कॉपी है फर्क ये है की तब दादी नौटंकी कर रही थी और आज दादी जैसी नाक वाली पोती और मेंटल पोता नौटंकी कर रहे हैं आज जो कांग्रेसी जिहादी मानसिकता वाले लोग और चमचे लोकतंत्र की दुहाई देते है आज यह जान कर चोक जायेंगे की 1980 के दशक में जनता पार्टी बीजेपी पार्टी थी और बाबू बनारसी दास उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री थे ,जो इंद्रा की आंखों में कांटों की तरह खटक रहे थे उनको इस लिए बर्खास्त कर दिया गया कि कुशीनगर जिले के कप्तानगंज कस्बा नारायणपुर में एक दलित इंसान की ट्रेक्टर ट्राली से मौत हो गई थी और इतिहास में ये घटना नारायणपुर कांड के नाम से जानी जाती है लेकिन इस घटना का दूसरा पहलू भी है जो धोखे पर आधारित है आज कल आप प्रियंका को बीजेपी शासित राज्यों में दंगा करने वाले पीड़ितों या दंगाइयों के घर जा कर सिर पर हाथ सहराते देखते हैं ठीक ऐसे ही धूर्त इंद्रा गांधी भी थी क्योंकि उस समय इंद्रा गांधी सत्ता से बाहर हो चुकी थी तो उसे जैसे ही पता चला की पूर्वी उत्तरप्रदेश के दूर दराज नारायणपुर इलाके में एक दलित महिला की ट्रेक्टर ट्राली से कुचल कर मौत हो चुकी है और उसकी बेटी अनाथ हो गई है तो इंद्रा तुरंत नारायणपुर भाग कर गई और उस लड़की जिसका नाम था सोनकालिया उस अनाथ लड़की को गोद में लिया और मीडिया के सामने ये एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी बेटी है आज से इसके लालन पालन पोषण पढ़ाई लिखाई और पूरी जिंदगी का जिम्मा में लेटी हूं आज से ये मेरी बेटी है, इंद्रा गांधी की सह पाकर विरोधी गांव वाले उत्तरप्रदेश की बीजेपी सरकार बाबू बनारसी दास के खिलाफ लोगों से बगावत करवा दिया और जगह जगह चक्का जाम करवा दिए और pac को मजबूरन दंगाइयों पर गोली चलानी पड़ी और इस प्रकार जिहाद फेला कर बाबू बनारसी दास बीजेपी सरकार को सत्ता से बर्खास्त करवा दिया,इतना ही नहीं उस दलित अनाथ बच्ची सोनकलियां को इंद्रा गांधी जहाज में बिठा कर दिल्ली ले आई,दिल्ली में उस अनाथ बच्ची को देश की मीडिया के सामने गोद में लेकर दुलारा पुचकारा और एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी गोद ली हुई बेटी है में आज से पूरी जिंदगी इसकी जिम्मेदारी लेती हूं इसको विदेश में शिक्षा पढ़ाई लिखाई पालन पोषण हर प्रकार की जिम्मेदारी मेरी है पूरी जिंदगी, उसी दिन एक व्यक्ति सोनकलिय को जहाज में बिठा कर गोरखपुर लाया और सड़क मार्ग से गांव में छोड़ कर चला गया, क्यों की उस समय पूरी देश की मीडिया इंद्रा के कंट्रोल मे थी, और उत्तरप्रदेश का मुख्य अखबार (आज) होता था जो कांग्रेस के नेता कमला पति त्रिपाठी का था इस लिए कांग्रेसियों ने इस घटना पर चुप्पी साध ली, कि जिस अनाथ बेसहारा बच्ची को कुछ घंटे पहले इंद्रा अपनी बेटी बता रही थी पूरे देश की मीडिया के सामने उस अबोध अनाथ बेसहारा बच्ची को वापिस गांव में छोड़ दिया गया क्यों कि इंद्रा का मतलब निकल गया था, आज इंद्रा की गोद ली हुई बेटी सोनकलिया गांव में भीख मांग कर गुजारा कर रही है, 2014 के बाद जब उत्तरप्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार बीजेपी आई तो उस इंद्रा की गोद ली अनाथ बेसहारा बेटी सोनकलिया को प्रधानमंत्री आवास योजना से पक्का घर मिला ये सच्ची कहानी है सोनकलिया जिंदा है और ये आपको नारायणपुर 1980 घटना उत्तरप्रदेश के नाम से गूगल पर मिल जायेगी,,,, इस लिए में बोलता हूं कि ये धूर्त खानदान ने नोटंकि करने के अलावा कुछ नहीं किया है ये दोगले हमेशा गिलेसरीन लेकर घूमते हैं और जहां जरूरत पड़ती है वहां आंखों में गिलेसरिन लगा कर धूर्त भेड़ियों की तरह रोने लगते हैं क्यों कि इन कांग्रेसी लोगों के परिवार ने भारत की जनता की कमजोरी जान ली है कि भारत की जनता बहुत भाबुक होती है इस लिए इन लोगो से आज भी भारत के बच्चे बच्चे को सावधान रहना चाहिए ये कभी किसी के नहीं हो सकते ऐसे लोगों का कोई धर्म नहीं होता जय हिंद ये आपको गूगल पर नारायणपुर उत्तरप्रदेश 1980 घटना के नाम से मिल जायेगी जय श्री राम सावधान रहना इन लोगों से
विकास हैं भरोसा है मुमकिन है राष्ट्रवाद है साथ साथ मोदी जी हैं सनातन विरोधी हिन्दू विरोधी देश विरोधी इंडिया मुक्त भारत जय श्री राम वंदे मातरम् अबकी बार चार सो पार
लोग भूल जाते हैं कि मोदी जी ने सत्ता में आते ही 18000 गाँव में बिजली पहुंचाई और 20 घंटे प्रतिदिन बिजली की आपूर्ति को सुनिश्चित किया और योगी जी ने इसमे सम्पूर्ण सहयोग किया.
जिस हिन्दू को मोदी जी- योगी जी से अच्छे सोनिया माइनो, प्रियंका वाड्रा, राहुल खान, अखिलेश, केजरीवाल, लालू, ममता लगने लगे समझ लो वो हिन्दू भविष्य का मुसलमान बनने को तैयार है! 🙏जय श्री राम🙏
हाथरस वाली घटना उत्तरप्रदेश में 80 के दशक में नारायणपुर कांड की पूरी कॉपी है फर्क ये है की तब दादी नौटंकी कर रही थी और आज दादी जैसी नाक वाली पोती और मेंटल पोता नौटंकी कर रहे हैं आज जो कांग्रेसी जिहादी मानसिकता वाले लोग और चमचे लोकतंत्र की दुहाई देते है आज यह जान कर चोक जायेंगे की 1980 के दशक में जनता पार्टी बीजेपी पार्टी थी और बाबू बनारसी दास उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री थे ,जो इंद्रा की आंखों में कांटों की तरह खटक रहे थे उनको इस लिए बर्खास्त कर दिया गया कि कुशीनगर जिले के कप्तानगंज कस्बा नारायणपुर में एक दलित इंसान की ट्रेक्टर ट्राली से मौत हो गई थी और इतिहास में ये घटना नारायणपुर कांड के नाम से जानी जाती है लेकिन इस घटना का दूसरा पहलू भी है जो धोखे पर आधारित है आज कल आप प्रियंका को बीजेपी शासित राज्यों में दंगा करने वाले पीड़ितों या दंगाइयों के घर जा कर सिर पर हाथ सहराते देखते हैं ठीक ऐसे ही धूर्त इंद्रा गांधी भी थी क्योंकि उस समय इंद्रा गांधी सत्ता से बाहर हो चुकी थी तो उसे जैसे ही पता चला की पूर्वी उत्तरप्रदेश के दूर दराज नारायणपुर इलाके में एक दलित महिला की ट्रेक्टर ट्राली से कुचल कर मौत हो चुकी है और उसकी बेटी अनाथ हो गई है तो इंद्रा तुरंत नारायणपुर भाग कर गई और उस लड़की जिसका नाम था सोनकालिया उस अनाथ लड़की को गोद में लिया और मीडिया के सामने ये एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी बेटी है आज से इसके लालन पालन पोषण पढ़ाई लिखाई और पूरी जिंदगी का जिम्मा में लेटी हूं आज से ये मेरी बेटी है, इंद्रा गांधी की सह पाकर विरोधी गांव वाले उत्तरप्रदेश की बीजेपी सरकार बाबू बनारसी दास के खिलाफ लोगों से बगावत करवा दिया और जगह जगह चक्का जाम करवा दिए और pac को मजबूरन दंगाइयों पर गोली चलानी पड़ी और इस प्रकार जिहाद फेला कर बाबू बनारसी दास बीजेपी सरकार को सत्ता से बर्खास्त करवा दिया,इतना ही नहीं उस दलित अनाथ बच्ची सोनकलियां को इंद्रा गांधी जहाज में बिठा कर दिल्ली ले आई,दिल्ली में उस अनाथ बच्ची को देश की मीडिया के सामने गोद में लेकर दुलारा पुचकारा और एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी गोद ली हुई बेटी है में आज से पूरी जिंदगी इसकी जिम्मेदारी लेती हूं इसको विदेश में शिक्षा पढ़ाई लिखाई पालन पोषण हर प्रकार की जिम्मेदारी मेरी है पूरी जिंदगी, उसी दिन एक व्यक्ति सोनकलिय को जहाज में बिठा कर गोरखपुर लाया और सड़क मार्ग से गांव में छोड़ कर चला गया, क्यों की उस समय पूरी देश की मीडिया इंद्रा के कंट्रोल मे थी, और उत्तरप्रदेश का मुख्य अखबार (आज) होता था जो कांग्रेस के नेता कमला पति त्रिपाठी का था इस लिए कांग्रेसियों ने इस घटना पर चुप्पी साध ली, कि जिस अनाथ बेसहारा बच्ची को कुछ घंटे पहले इंद्रा अपनी बेटी बता रही थी पूरे देश की मीडिया के सामने उस अबोध अनाथ बेसहारा बच्ची को वापिस गांव में छोड़ दिया गया क्यों कि इंद्रा का मतलब निकल गया था, आज इंद्रा की गोद ली हुई बेटी सोनकलिया गांव में भीख मांग कर गुजारा कर रही है, 2014 के बाद जब उत्तरप्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार बीजेपी आई तो उस इंद्रा की गोद ली अनाथ बेसहारा बेटी सोनकलिया को प्रधानमंत्री आवास योजना से पक्का घर मिला ये सच्ची कहानी है सोनकलिया जिंदा है और ये आपको नारायणपुर 1980 घटना उत्तरप्रदेश के नाम से गूगल पर मिल जायेगी,,,, इस लिए में बोलता हूं कि ये धूर्त खानदान ने नोटंकि करने के अलावा कुछ नहीं किया है ये दोगले हमेशा गिलेसरीन लेकर घूमते हैं और जहां जरूरत पड़ती है वहां आंखों में गिलेसरिन लगा कर धूर्त भेड़ियों की तरह रोने लगते हैं क्यों कि इन कांग्रेसी लोगों के परिवार ने भारत की जनता की कमजोरी जान ली है कि भारत की जनता बहुत भाबुक होती है इस लिए इन लोगो से आज भी भारत के बच्चे बच्चे को सावधान रहना चाहिए ये कभी किसी के नहीं हो सकते ऐसे लोगों का कोई धर्म नहीं होता जय हिंद ये आपको गूगल पर नारायणपुर उत्तरप्रदेश 1980 घटना के नाम से मिल जायेगी जय श्री राम सावधान रहना इन लोगों से
एक वर्ग विशेष के लोग मोदीजी की प्रधानमंत्री योजना का मकान भी लेंगे, मुफ्त इलाज का कार्ड भी लेंगे, मुफ्त राशन भी लेंगे, मुफ्त गैस सिलेंडर और तमाम सरकारी सुविधाओं का आनंद भी लेंगे पार जब उनको पूछो क्या आप लोग मोदी को वोट देंगे तो यह लोग कहते है कि हम मोदी को वोट नहीं देंगे? कितने अहसान फरमो... लोग है ये? ऊपर वाला सब देख रहा है... 🙏😭...
हाथरस वाली घटना उत्तरप्रदेश में 80 के दशक में नारायणपुर कांड की पूरी कॉपी है फर्क ये है की तब दादी नौटंकी कर रही थी और आज दादी जैसी नाक वाली पोती और मेंटल पोता नौटंकी कर रहे हैं आज जो कांग्रेसी जिहादी मानसिकता वाले लोग और चमचे लोकतंत्र की दुहाई देते है आज यह जान कर चोक जायेंगे की 1980 के दशक में जनता पार्टी बीजेपी पार्टी थी और बाबू बनारसी दास उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री थे ,जो इंद्रा की आंखों में कांटों की तरह खटक रहे थे उनको इस लिए बर्खास्त कर दिया गया कि कुशीनगर जिले के कप्तानगंज कस्बा नारायणपुर में एक दलित इंसान की ट्रेक्टर ट्राली से मौत हो गई थी और इतिहास में ये घटना नारायणपुर कांड के नाम से जानी जाती है लेकिन इस घटना का दूसरा पहलू भी है जो धोखे पर आधारित है आज कल आप प्रियंका को बीजेपी शासित राज्यों में दंगा करने वाले पीड़ितों या दंगाइयों के घर जा कर सिर पर हाथ सहराते देखते हैं ठीक ऐसे ही धूर्त इंद्रा गांधी भी थी क्योंकि उस समय इंद्रा गांधी सत्ता से बाहर हो चुकी थी तो उसे जैसे ही पता चला की पूर्वी उत्तरप्रदेश के दूर दराज नारायणपुर इलाके में एक दलित महिला की ट्रेक्टर ट्राली से कुचल कर मौत हो चुकी है और उसकी बेटी अनाथ हो गई है तो इंद्रा तुरंत नारायणपुर भाग कर गई और उस लड़की जिसका नाम था सोनकालिया उस अनाथ लड़की को गोद में लिया और मीडिया के सामने ये एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी बेटी है आज से इसके लालन पालन पोषण पढ़ाई लिखाई और पूरी जिंदगी का जिम्मा में लेटी हूं आज से ये मेरी बेटी है, इंद्रा गांधी की सह पाकर विरोधी गांव वाले उत्तरप्रदेश की बीजेपी सरकार बाबू बनारसी दास के खिलाफ लोगों से बगावत करवा दिया और जगह जगह चक्का जाम करवा दिए और pac को मजबूरन दंगाइयों पर गोली चलानी पड़ी और इस प्रकार जिहाद फेला कर बाबू बनारसी दास बीजेपी सरकार को सत्ता से बर्खास्त करवा दिया,इतना ही नहीं उस दलित अनाथ बच्ची सोनकलियां को इंद्रा गांधी जहाज में बिठा कर दिल्ली ले आई,दिल्ली में उस अनाथ बच्ची को देश की मीडिया के सामने गोद में लेकर दुलारा पुचकारा और एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी गोद ली हुई बेटी है में आज से पूरी जिंदगी इसकी जिम्मेदारी लेती हूं इसको विदेश में शिक्षा पढ़ाई लिखाई पालन पोषण हर प्रकार की जिम्मेदारी मेरी है पूरी जिंदगी, उसी दिन एक व्यक्ति सोनकलिय को जहाज में बिठा कर गोरखपुर लाया और सड़क मार्ग से गांव में छोड़ कर चला गया, क्यों की उस समय पूरी देश की मीडिया इंद्रा के कंट्रोल मे थी, और उत्तरप्रदेश का मुख्य अखबार (आज) होता था जो कांग्रेस के नेता कमला पति त्रिपाठी का था इस लिए कांग्रेसियों ने इस घटना पर चुप्पी साध ली, कि जिस अनाथ बेसहारा बच्ची को कुछ घंटे पहले इंद्रा अपनी बेटी बता रही थी पूरे देश की मीडिया के सामने उस अबोध अनाथ बेसहारा बच्ची को वापिस गांव में छोड़ दिया गया क्यों कि इंद्रा का मतलब निकल गया था, आज इंद्रा की गोद ली हुई बेटी सोनकलिया गांव में भीख मांग कर गुजारा कर रही है, 2014 के बाद जब उत्तरप्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार बीजेपी आई तो उस इंद्रा की गोद ली अनाथ बेसहारा बेटी सोनकलिया को प्रधानमंत्री आवास योजना से पक्का घर मिला ये सच्ची कहानी है सोनकलिया जिंदा है और ये आपको नारायणपुर 1980 घटना उत्तरप्रदेश के नाम से गूगल पर मिल जायेगी,,,, इस लिए में बोलता हूं कि ये धूर्त खानदान ने नोटंकि करने के अलावा कुछ नहीं किया है ये दोगले हमेशा गिलेसरीन लेकर घूमते हैं और जहां जरूरत पड़ती है वहां आंखों में गिलेसरिन लगा कर धूर्त भेड़ियों की तरह रोने लगते हैं क्यों कि इन कांग्रेसी लोगों के परिवार ने भारत की जनता की कमजोरी जान ली है कि भारत की जनता बहुत भाबुक होती है इस लिए इन लोगो से आज भी भारत के बच्चे बच्चे को सावधान रहना चाहिए ये कभी किसी के नहीं हो सकते ऐसे लोगों का कोई धर्म नहीं होता जय हिंद ये आपको गूगल पर नारायणपुर उत्तरप्रदेश 1980 घटना के नाम से मिल जायेगी जय श्री राम सावधान रहना इन लोगों से
मुझे इतना दुःख हो रहा है इनकी बातें सुनकर । बहुत guilty महसूस रहा है। कॉंग्रेस ने बिल्कुल बर्बाद कर दिया मेरे देश को। क्या कसूर था इनलोगों का 😢। जो लोग congress या किसी और को वोट डाल रहे हैं वो लोग इनकी दुर्दशा के लिए जिम्मेदार हैं । 😢😢
पहले नया आदमी का महिने का तनख़ा 2 हजार था अभी दस हजार से ज्यादा मिल रहा है तो कहा महंगाई बढी है आवक डबल होनी चाहिए लेकिन महंगाई नहीं बढणी चाहिए एसा केसे होगा
कांग्रेस ने अपना विकास किया 70साल तक पब्लिक से कोई लेना देना नही वोट लिया और गायब हो गए 5साल बाद फिर आए वोट मांगा जीते फिर गायब 5साल के लिए यही सब चलता रहा 70। साल तक
हाथरस वाली घटना उत्तरप्रदेश में 80 के दशक में नारायणपुर कांड की पूरी कॉपी है फर्क ये है की तब दादी नौटंकी कर रही थी और आज दादी जैसी नाक वाली पोती और मेंटल पोता नौटंकी कर रहे हैं आज जो कांग्रेसी जिहादी मानसिकता वाले लोग और चमचे लोकतंत्र की दुहाई देते है आज यह जान कर चोक जायेंगे की 1980 के दशक में जनता पार्टी बीजेपी पार्टी थी और बाबू बनारसी दास उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री थे ,जो इंद्रा की आंखों में कांटों की तरह खटक रहे थे उनको इस लिए बर्खास्त कर दिया गया कि कुशीनगर जिले के कप्तानगंज कस्बा नारायणपुर में एक दलित इंसान की ट्रेक्टर ट्राली से मौत हो गई थी और इतिहास में ये घटना नारायणपुर कांड के नाम से जानी जाती है लेकिन इस घटना का दूसरा पहलू भी है जो धोखे पर आधारित है आज कल आप प्रियंका को बीजेपी शासित राज्यों में दंगा करने वाले पीड़ितों या दंगाइयों के घर जा कर सिर पर हाथ सहराते देखते हैं ठीक ऐसे ही धूर्त इंद्रा गांधी भी थी क्योंकि उस समय इंद्रा गांधी सत्ता से बाहर हो चुकी थी तो उसे जैसे ही पता चला की पूर्वी उत्तरप्रदेश के दूर दराज नारायणपुर इलाके में एक दलित महिला की ट्रेक्टर ट्राली से कुचल कर मौत हो चुकी है और उसकी बेटी अनाथ हो गई है तो इंद्रा तुरंत नारायणपुर भाग कर गई और उस लड़की जिसका नाम था सोनकालिया उस अनाथ लड़की को गोद में लिया और मीडिया के सामने ये एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी बेटी है आज से इसके लालन पालन पोषण पढ़ाई लिखाई और पूरी जिंदगी का जिम्मा में लेटी हूं आज से ये मेरी बेटी है, इंद्रा गांधी की सह पाकर विरोधी गांव वाले उत्तरप्रदेश की बीजेपी सरकार बाबू बनारसी दास के खिलाफ लोगों से बगावत करवा दिया और जगह जगह चक्का जाम करवा दिए और pac को मजबूरन दंगाइयों पर गोली चलानी पड़ी और इस प्रकार जिहाद फेला कर बाबू बनारसी दास बीजेपी सरकार को सत्ता से बर्खास्त करवा दिया,इतना ही नहीं उस दलित अनाथ बच्ची सोनकलियां को इंद्रा गांधी जहाज में बिठा कर दिल्ली ले आई,दिल्ली में उस अनाथ बच्ची को देश की मीडिया के सामने गोद में लेकर दुलारा पुचकारा और एलान किया की ये सोनकलिया आज से मेरी गोद ली हुई बेटी है में आज से पूरी जिंदगी इसकी जिम्मेदारी लेती हूं इसको विदेश में शिक्षा पढ़ाई लिखाई पालन पोषण हर प्रकार की जिम्मेदारी मेरी है पूरी जिंदगी, उसी दिन एक व्यक्ति सोनकलिय को जहाज में बिठा कर गोरखपुर लाया और सड़क मार्ग से गांव में छोड़ कर चला गया, क्यों की उस समय पूरी देश की मीडिया इंद्रा के कंट्रोल मे थी, और उत्तरप्रदेश का मुख्य अखबार (आज) होता था जो कांग्रेस के नेता कमला पति त्रिपाठी का था इस लिए कांग्रेसियों ने इस घटना पर चुप्पी साध ली, कि जिस अनाथ बेसहारा बच्ची को कुछ घंटे पहले इंद्रा अपनी बेटी बता रही थी पूरे देश की मीडिया के सामने उस अबोध अनाथ बेसहारा बच्ची को वापिस गांव में छोड़ दिया गया क्यों कि इंद्रा का मतलब निकल गया था, आज इंद्रा की गोद ली हुई बेटी सोनकलिया गांव में भीख मांग कर गुजारा कर रही है, 2014 के बाद जब उत्तरप्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार बीजेपी आई तो उस इंद्रा की गोद ली अनाथ बेसहारा बेटी सोनकलिया को प्रधानमंत्री आवास योजना से पक्का घर मिला ये सच्ची कहानी है सोनकलिया जिंदा है और ये आपको नारायणपुर 1980 घटना उत्तरप्रदेश के नाम से गूगल पर मिल जायेगी,,,, इस लिए में बोलता हूं कि ये धूर्त खानदान ने नोटंकि करने के अलावा कुछ नहीं किया है ये दोगले हमेशा गिलेसरीन लेकर घूमते हैं और जहां जरूरत पड़ती है वहां आंखों में गिलेसरिन लगा कर धूर्त भेड़ियों की तरह रोने लगते हैं क्यों कि इन कांग्रेसी लोगों के परिवार ने भारत की जनता की कमजोरी जान ली है कि भारत की जनता बहुत भाबुक होती है इस लिए इन लोगो से आज भी भारत के बच्चे बच्चे को सावधान रहना चाहिए ये कभी किसी के नहीं हो सकते ऐसे लोगों का कोई धर्म नहीं होता जय हिंद ये आपको गूगल पर नारायणपुर उत्तरप्रदेश 1980 घटना के नाम से मिल जायेगी जय श्री राम सावधान रहना इन लोगों से
बहुत गजब कवरेज और असलियत बाहर लाई आपने कांग्रेस की यह असलियत मोदीजी का यह कार्य हर भारतीय को समझना चाहिए उज्ज्वला योजना के आने से आज हर घर गैस चूल्हा पहुंचा है उससे पहले आम आदमी के लिए यह बहुत महंगा होता था
all citizens of India 🇮🇳 Election is crucial for the progress and development of our Bharat ! Do not take anything for granted and MAKE sure 👌 you go and VOTE BJP TO maintain 💪 last 10 years progress and development jai hind
दिनेश सिंह 10वर्ष MLC थे 10वर्ष से जिला पंचायत अध्यक्ष है ,भाई राकेश विधायक थे , लड़का पियूष , ब्लाक प्रमुख है ,और काग्रेस से ही थे ये लोग बताए क्या किया।राजीव गांधी विद्युतीकरण की लाइन लगाई गई ।
Modi is greatest leader ever born on this earth my salute to him RAM KRISHNA AND MODI all opposition parties wants to devide and destroy Bharat and Hindus every Hindu should understand and unite and vote 100percent to B.J.P if you want to save the Nation and our future generations
60 years no electricity in this village. Congress mother land. This is congress development threka. People understand . This is BJP government development.