पूर्वोत्तर भारत का वो शख़्स अब सीधे नेहरू सरकार को चुनौती दे रहा था। द्वितीय विश्व युद्ध में जापानी सेना के साथ रहा नागाओं का ये मसीहा अब भारत के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहा था। कभी पकिस्तान तो कभी बर्मा में रहकर अपने आंदोलनों को मज़बूती देने वाला ये विद्रोही नेता अपने अंतिम क्षणों तक नागालैंड को भारत से आज़ाद किए जाने की मांग करता रहा
पूर्वोतर भारत में कहानी अंगामी ज़ापू फ़िज़ो की जिसने नागालैंड को भारत से अलग कराने में कोई भी कसर नहीं छोड़ी थी...
VOICE AND SCRIPT: ANURAG PANDEY
GRAPHICS: IMRAN, PANKAJ
5 мар 2019